पाठ — 3 (गद्य भारती)परम्परा बनाम आधुनिकता (आचार्य हजारी प्रसाद 'द्विवेदी')बोध — प्रश्न - अति लघु उत्तरीय प्रश्न —
- 'परम्परा' क्या है?
उत्तर — 'परम्परा शब्द का अर्थ है — एक से दूसरे को, दूसरे से तीसरे को दिया जाने वाला क्रम।
- दो शताब्दी पूर्व किस प्रकार के नाटकों की रचना अनुचित जान पड़ती थी?
उत्तर — दो शताब्दी पूर्व दु:खान्त नाटकों की रचना अनुचित जान पड़ती थी।
- मनुष्य की महिमा किसे स्वीकार है?
उत्तर — मनुष्य की महिमा आधुनिक समाज को स्वीकार है।अगली मानवीय संस्कृति मनुष्य की समता और सामूहिक मुक्ति की भूमिका पर खड़ी होगी।
- आधुनिकता को असंयत और विश्रृंखल होने से कौन बचाती है।
उत्तर — आधुनिकता को असंयत और विश्रृंखल होने से परम्परा ही बचाती है।लघु उत्तरीय प्रश्न —
- भाषा की प्राप्ति किस प्रकार होती है?
उत्तर — भाषा हमें परम्परा से प्राप्त हुई है। वह काल — प्रवाह में बहती हुई, समकालीन सन्दर्भ से विखरती हुई, अनावश्यक बातों की छॅटनी करती हुई, नए उपादानों से बढ़ती और बदलती हुई आज की पीढ़ी को प्राप्त हो रही है।
- नीति — वाक्य में बुद्धिमान के विषय में क्या कहा गया है?
उत्तर — नीति — वाक्य में बुद्धिमान के विषय मेे कहा गया है कि वह एक पैर से खड़ा रहता है और दूसरे से चलता है। उसका एक पेर परम्परा है, तो दूसरा पैर आधुनिकता है।
- साहित्य के जिज्ञासु समझने में गलती कब कर सकते है?
उत्तर — साहित्य के जिज्ञासु को परिवर्तित और परिवर्तमान मूल्यों की ठीक — ठीक जानकारी नहीं हो, तो वे बहुत — सी बातों को समझने में गलती कर सकते हैं।
- चित्तगत उन्मुक्तता पर कौन — सा नया अंकुश लग रहा है?
उत्तर — चित्तगत उन्मुक्तता पर व्यष्टि — मानव के स्थान पर समष्टि — मानव के प्राधान्य का एक नया अंकुश लग रहा है।
- आधुनिकता सम्प्रदाय का विरोध क्यों करती है?
उत्तर — आधुनिकता एक गतिशील प्रक्रिया है। सम्प्रदाय स्थिति का संरक्षक या पोषक है। संप्रदाय प्रयत्नपूर्वक किसी आचार या विचार को पीढ़ियों तक सुरक्षित रखने का प्रयत्न करता है। इसलिए आधुनिकता सम्प्रदाय का विरोध करती है।दीर्घ उत्तरीय प्रश्न —
- परम्परा और आधुनिकता की तुलनात्मक व्याख्या कीजिए।
उत्तर — परम्परा और आधुनिकता एक — दूसरे पर आधारित है।एक के बिना दूसरी की कल्पना भी नहीं की जा सकती।परम्परा पिछला पैर है, तो आधुनिकता अगला पैर।परम्परा आधुनिकता को आधार देती है, उसे शुष्क और नीरस बुद्धि — विलास से बचाती है। परम्परा बौद्धिक है, आधुनिकता बौद्धिक नहीं है।
- पाठ के आधार पर आधुकनिकता के व्यापक अर्थ समझाइए।
उत्तर — 'आधुनिकता' शब्द 'अधुना' से बना है। अधुना का अर्थ है — इस समय जो कुछ है। परन्तु आधुनिकता का यही अर्थ नही है। हम देखते हैं कि कुछ बातें इस समय भी ऐसी हैं, जो आधुनिक नहीं है। साहित्यकार को आधुनिकता की जानकारी होती, तो वह बहुत — सी बातों को समझने में गलती कर सकता है। आधुनिकता समाज के शोषण से मुक्ति चाहती है। यह आधुनिकता सम्प्रदाय की विरोधी है, क्योकिं आधुनिकता एक गतिशील प्रक्रिया है, जबकि सम्प्रदाय स्थिति का संरक्षक हे। आधुनिकता मानवीय मूल्यों को नये संदर्भो में देखने की दृष्टि प्रदान करती है। आधुनिकता बुद्धि प्रधान होती है। यह परम्परा के आधार पर खड़ी है। आधुनिकता को परम्परा के साथ देखना होता है।
- साहित्य के क्षेत्र में इतिहास किस प्रकार मदद करता है?
उत्तर — साहित्य के क्षेत्र में इतिहास बड़ी मदद करता है। प्राचीन काल के मानवीय अनुभव साहित्याकारों के चित्त को चंचल और वाणी को मुखर बनाते हैं। इतिहास का आधार नहीं हो, तो साहित्यकार किसी भी विषय की गलत ढंग से व्याख्या कर सकता है। सम्भव है, वह मर्यादा में न रहे। जिस जिज्ञासु को इतिहास का ज्ञान नहीं है, वह हजारों वर्षो के मानवीय प्रयासों का रसास्वादन नही कर सकता। सही अर्थो में इतिहास साहित्य के लिए भूमिका या पीठिका का कार्य करता है।
- ''आधुनिकता अपने आप में कोई मूल्य नहीं है'' — उक्त कथन को स्पष्ट कीजिए।
उत्तर — आधुनिकता अपने आप में कोई मूल्य नही है। इसका स्वतंत्र रूप से कोई मूल्य नही होता है। यह एक गतिशील प्रक्रिया है। युग बदल रहा है। सन्दर्भ बदल रहे हैं। नई जानकारी से नए साधन और नए उत्पादन सुलभ होते जा रहे है। आधुनिकता ज्ञान की अत्याधुनिक उपलब्धियों के आलोक के रूप ग्रहण करने का प्रयास करती है। सच पूछा जाय तो आधुनिकता परम्परा पर आधारित है। अत: आधुनिकता अपने आप में कोई मूल्य नहीं है। इसका मूल्य तभी होगा, जब यह परम्परा पर आधारित होगी।
- विचाार विस्तार कीजिए — ''कोई भी आधुनिक विचार आसमान में नहीं पैदा होता है। ''
उत्तर — वस्तुत: कोई भी आधुनिक विचार आसमान में पैदा नहीं होता है। वह एकदम उत्पन्न नहीं होता है। उसकी जड़ परम्परा में गहराई तक गई हुई होती है। सुन्दर से सुन्दर फूल कभी इस बात का दावा नहीं कर सकता कि वह पेड़ से भिन्न होने के कारण उससे एकदम अलग है। कोई भी पेड़ मिट्टी से भिन्न होकर अपने अस्तित्व का दावा नहीं कर सकता। यथार्थत: आधुनिक विचार परम्परा के धरातल पर खड़े होकर सामने आते है।भाषा अध्ययन
निम्नलिखित शब्द समूह के लिए एक — एक शब्द लिखिए —
- निरन्तर चलने वाला,
गतिमान
- वह समय जो बीत चुका है,
अतीत
- नीति का बोध करने वाला वाक्य
नीति — वाक्य
- मन के भाव,
मनोभाव
- महिमा से परिपूर्ण।
महिमा मण्डित या महिमावन्त।
- निम्नलिखित शब्दों का सन्धि — विच्छेद करते हुए सन्धि का नाम बताइए — (1) मनोभाव, (2) पुनर्जन्म, (3) निर्बल, (4) प्राग्ज्योतिष, (5) अत्याधुनिक, (6) महर्षि, (7) आर्योजित, (8) पुनरूद्धार।
- मनोभाव = मन: + भाव (विसर्ग सन्धि्)
- पुनर्जन्म = पुन: + जन्म (विसर्ग सन्धि्)
- निर्बल = नि: + बल (विसर्ग सन्धि्)
- प्राग्ज्योतिष = प्राक् + ज्योतिष (व्यंजन सन्धि)
- अत्याधुनिक = अति + आधुनिक (यण स्वर सन्धि)
- महर्षि = महा + ऋषि (दीर्घ स्वर सन्धि)
- आर्योजित = आर्य + उचित (गुण सन्धि)
- पुनरूद्धार = पुन: + उद्धार (विसर्ग सन्धि)
- निम्नलिखित पदों का समास विग्रह करते हुए समास का नाम लिखिए — (1) इतिहास — सम्मत, (2) बाल — लीला (3) काल — प्रवाह (4) परम्परा प्राप्त, (5) विचार — राशि (6) देवकीपुत्र (7) राज्यच्युत (8) सत्ताधारी
- इतिहास — सम्मत = इतिहास से सम्मत (चतुर्थी तत्पुरूष)
- बाल — लीला = बालक की लीला (षष्ठी तत्पुरूष)
- काल — प्रवाह = काल — प्रवाह (षष्ठी तत्पुरूष)
- परम्परा प्राप्त, = परमपरा से प्राप्त (पंचमी तत्पुरूष)
- विचार — राशि = विचारों की राशि (षष्ठी तत्पुरूष)
- देवकीपुत्र = देवकी का पुत्र (षष्ठी तत्पुरूष)
- राज्यच्युत = राज्य से च्युत (पंचमी तत्पुरूष)
- सत्ताधारी = जो सत्ता को धारण किए हो (बहुब्रीहि समास) सत्ता का धारण (षष्ठी तत्पुरूष)
वस्तुनिष्ठ प्रश्नोत्तर —
सत्य/असत्य बताइए —
- भाषा हमें परम्परा से प्राप्त हुई है।
सत्य
- बुद्धिमान आदमी एक पैर से खड़ा रहता है और दूसरे से चलता है।
सत्य
- आधुनिकता सम्प्रदाय का विरोध करती है।
सत्य
- आधुनिकता अपने आप में एक मूल्य है।
असत्य
- परम्परा और आधुनिकता परस्पर विरोधी है।
असत्य
सही शब्द द्वारा रिक्त स्थान की पूर्ति कीजिए —
- 'परम्परा बनाम आधुनिकता' एक .............. निबन्ध है।
विचारात्मक।
- परम्परा और आधुनिकता परस्पर ...............है।
पूरक।
- आधुनिकता सम्प्रदाय का ...............करती है।
विरोध।
- खड़ा पैर परम्परा है और चलता पैर ............है।
आधुनिकता।